झांसी। परमार्थ समाज सेवी संस्थान के कार्यालय में एक वालंटियर कार्यशाला का आयोजन किया गया , इस कार्यशाला में बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के समाजशास्त्र विभाग के तकरीबन 30 से 40 छात्रों ने हिस्सा लिया, इस दौरान सभी छात्रों ने चाइल्ड लाइन को स्थापना से लेकर आज तक के सफर और विकास व कार्यों के रूप में विस्तृत चर्चा कर जाना ।
इस मौके पर चाइल्ड लाइन समन्वयक हेमन्त सिंह ने समाज में हो रहे बच्चों के खिलाफ दुर्व्यवहार, बाल भिक्षावृत्ति, बाल श्रम, बाल विवाह, बाल अपराध और शोषण के विरुद्ध एक जन पहल शुरू करने और उसको साकार रूप देने पर सभी लोगों से सहमति माँगी और कहा कि बदलते समाज व परिवेश को देखते हुए बच्चों को सुरक्षित, समृद्ध, स्वस्थ और शिक्षित समाज देना हम लोगों के लिए एक चुनौती है, जिसको हमें हर हाल में निभाना है । इस उद्देश्य को सफल बनाना चाइल्ड लाइन 1098 और बच्चों से जुडी संस्थाओं की सेवा है जिसे हम संस्थाओं को पूरी ईमानदारी और कर्तव्य के साथ काम कर निभाना है।

चाइल्ड लाइन परियोजना 24 घण्टे जरूरतमंद बच्चो के लिए आपात कालीन 1098 सेवा है, 0 से 18 वर्ष तक के बालक और बालिका को सहायता उपलब्ध कराना चाइल्ड लाइन की प्रमुखता है , बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय से आये सभी छात्रो को एक वालंटियर का दर्जा देकर चाइल्ड लाइन के कार्यो में सहयोग देने का आवाहन किया ।
सभी छात्रो ने चाइल्ड लाइन के कार्यों को सराहा और किसी भी तरह बच्चों को मुसीबत में देखने पर 1098 पर तुरंत सूचित करने का आश्वासन दिया I इस मौके पर परमार्थ समाज सेवी संस्थान के वरिष्ठ कार्यकर्ता सत्यम चतुर्वेदी और मान सिंह राजपूत के साथ चाइल्ड लाइन टीम से सोनिय पस्तोर , राखी , मंजू , अरविन्द और आनन्द उपस्थित रहे ।